Kalratri Mata Ki Aarti – कालरात्रि माता की आरती

Kalratri Mata Ki Aartiकालरात्रि माता की आरती – माँ कालरात्रि की आराधना और स्तुति का एक सबसे सुगम और विशेष माध्यम माना गया है, माँ कालरात्रि की सम्पूर्ण श्रद्धा और भक्ति के साथ आरती करना.

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नवरात्रि की सप्तमी पूजा के दिन माँ कालरात्रि की आराधना की जाती है. इस दिन कालरात्रि माता की आरती करना अत्यंत ही शुभ और मंगलकारी माना गया है.

माँ कालरात्रि दुर्गा माता का ही एक रूप हैं. माँ दुर्गा की आराधना और स्तुति के लिए सबसे प्रसिद्ध आरती है – Om Jai Ambe Gauri Aarti ॐ जय अम्बे गौरी आरती

इस पोस्ट में आगे हम कालरात्रि माता की आरती के महत्व के बारे में भी चर्चा करेंगे. सबसे पहले हम सब सम्पूर्ण भक्तिपूर्वक माँ कालरात्रि की आरती प्रारंभ करतें हैं. जय कालरात्रि माता.

Kalratri Mata Ki Aarti – कालरात्रि माता की आरती

kalratri mata

|| माँ कालरात्रि की आरती ||

कालरात्रि जय-जय-महाकाली ।
काल के मुह से बचाने वाली ॥

दुष्ट संघारक नाम तुम्हारा ।
महाचंडी तेरा अवतार ॥

पृथ्वी और आकाश पे सारा ।
महाकाली है तेरा पसारा ॥

खडग खप्पर रखने वाली ।
दुष्टों का लहू चखने वाली ॥

कलकत्ता स्थान तुम्हारा ।
सब जगह देखूं तेरा नजारा ॥

सभी देवता सब नर-नारी ।
गावें स्तुति सभी तुम्हारी ॥

रक्तदंता और अन्नपूर्णा ।
कृपा करे तो कोई भी दुःख ना ॥

ना कोई चिंता रहे बीमारी ।
ना कोई गम ना संकट भारी ॥

उस पर कभी कष्ट ना आवें ।
महाकाली माँ जिसे बचाबे ॥

तू भी भक्त प्रेम से कह ।
कालरात्रि माँ तेरी जय ॥

Maa Kalratri Ki Aarti

Kalratri Jai Jai Mahakali.
Kal Ke Munh Se Bachane Wali.

Dusht Sangharak Nam Tumhara.
Mahachandi Tera Avtara.

Prithwi Aur Aakash Pe Sara.
Mahakali Hai Tera Pasara.

Khadag Khappar Rakhne Wali.
Dushton Ka Lahu Chakhne Wali.

Kalkatta Sthan Tumhara.
Sab Jagah Dekhun Tera Najara.

Sabhi Devta Sab Nar Nari.
Gaven Stuti Sabhi Tumhari.

Raktadanta Aur Annapurna.
Kripa Kare To Koi Bhi Dukhi Na.

Na Koi Chinta Rahe Bimari.
Na Koi Gam Na Sankat Bhari.

Us Par Kabhi Kasht Na Aawe.
Mahakali Maa Jise Bachawe.

Tu Bhi Bhakt Prem Se Kah.
Kalratri Maa Teri Jay.

माँ दुर्गा की स्तुति के लिए Aarti Jag Janani Main Teri Gaun आरती जग जननी मैं तेरी गाऊँ भी काफी शुभ आरती है.

कालरात्रि माता की आरती का महत्व

  • माँ कालरात्रि की आरती (Kalratri Mata Ki Aarti) करना अत्यंत ही शुभ और मंगलकारी माना गया है.
  • कालरात्रि माता माँ दुर्गा का ही एक रूप है.
  • राक्षसों और दुष्ट शक्तियों के संहार के लिए माँ दुर्गा ने कालरात्रि के रूप में अपना उग्र रूप धारण किया था.
  • नवरात्रि के सप्तमी तिथि अर्थात सप्तमी पूजा के दिन माँ कालरात्रि की पूजा आराधना का विधान है.
  • इस दिन माँ कालरात्रि की पूजा करना, उनकी स्तुति करना और कालरात्रि माता की आरती करना अत्यंत ही शुभ और मंगलकारी माना गया है.
  • धार्मिक मान्यताओं के अनुसार कालरात्रि माता की आरती करने से आत्मबिस्वास में बृद्धि होती है. भय का नाश होता है. नकारात्मक शक्तियों से बचाव होता है.
  • जीवन में आने वाले विपरीत परिस्थितयों का सामना करने का साहस माँ अपने भक्तों को प्रादान करतीं हैं.
माँ कालरात्रि किनका रूप मानी जातीं हैं?

माँ कालरात्रि देवी पार्वती जो की माँ दुर्गा भी हैं का रूप मानी जाती हैं.

नवरात्रि में किस दिन कालरात्रि माता की पूजा आराधना की जाती है?

नवरात्रि में सप्तमी तिथि को अर्थात सप्तमी पूजा में कालरात्रि माता की पूजा आराधना की जाती है.

सम्पूर्ण श्रद्धा और भक्ति के साथ माँ दुर्गा की आराधना करें. यहाँ हमने माँ दुर्गा की स्तुति से संबंद्धित कुछ और प्रकाशनों की सूचि दी हुई है. आप लिंक पर क्लीक करके उन्हें भी देख सकतें हैं.

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